Category: पहली बार चुदाई

कुंवारी अनचुदी सीलबन्द लड़की या लड़के की पहली बार चुदाई की कहानियाँ, कौमार्य भंग, सील तोड़ना, चूत और लण्ड से खून आना, दर्द से चीखें मारना

Kunvari Sealband ladki ke sath ya kisi ladake ki pahali baar ki Chudai ki Kahaniyan

Stories about first time sex with any virgin girl or a boy. Having sex for the first time, or losing your virginity, is an important event of life for all.

वेलेंटाईन डे का तोहफा-1

मैंने अपने मन को समझाया और उस पल की राह देखने लगा कि कब शादी हो और कब में किसी को चोद सकूँ। नई-नई सगाई होने के कारण मेरा ससुराल में आना-जाना था, हम रोज फ़ोन पर भी बातें करते घण्टों तक ! एक दिन मेरी मंगेतर ने मुझसे बातें करते-करते पूछा- कोई है तो […]

वेलेंटाईन डे का तोहफा-3

वो अक्षतयौवना थी तो उसकी योनि थोड़ी अन्दर और बहुत कसी हुई थी। फिर उसने मेरे लण्ड को अपने हाथ से पकड़ कर अपने योनि-मुख पर रखा और मैं धीरे धीरे दबाव देने लगा। वो मुँह से अजीब अजीब सी आवाज निकालने लगी। उसकी आवाज सुनकर मैं भी थोड़ा जोश में आ गया। फिर मैंने […]

कुक्कू आंटी-2

गाण्ड चटाई के बाद शंकर आंटी के बदन की मालिश करने लगा, शंकर के हाथ तो जोर-जोर से चल रहे थे लेकिन जैसे ही उसके हाथ स्तनों पर जाते, उसकी रफ़्तार कम हो जाती और उनको देर तक मसलता। जब ज्यादा देर उसके हाथ वहाँ पर रहता तो आंटी उसके सिर में एक चपत लगाती […]

गौने से पहले-2

पर नीरू ने मुझे सिखाया कि चिपकने से नहीं बल्कि जमकर चोदने से बच्चा पैदा होता है। हमारी यह लीला बीस दिनों तक दिन रात चलती रही और फिर एक सुबह रामू काका वापस आ गए। मेरे मन में नई शंका ने जन्म लिया कि अब मैं नीरू को नहीं चोद पाउँगा तो मेरे दिन […]

गौने से पहले-1

रामू काका अपनी बीवी और एक अठारह वर्षीय पुत्री के साथ काफी समय से मुंबई रहते थे। अब मैं भी इनके घर का एक सदस्य बन गया था। रामू काका का बाकी परिवार गाँव में रहता था। रामू काका की पुत्री नीरू मुंबई के नेशनल कालेज की छात्रा थी और बहुत ही खुले विचारों की […]

लड़की से औरत बनी-1

मेरे घर के सामने एक 30 साल का आदमी रहता था जिसका नाम रमेश था। उसकी बीवी पारिवारिक कारणों से उसके माँ बाप के साथ गावं में रहती थी। वो रविवार की छुट्टी में गाँव चला जाता था। चूंकि वो अकेला रहता था इसलिए अक्सर हमारे घर आ जाता था, मम्मी पापा से काफी घुलमिल […]

जिस्म की मांग-1

गाँव में माहौल शहर से भी गंदा होता है, जब मेरी छाती बढ़ने लगी तो उसका रस चूसने के लिए न जाने कितने लड़के आहें भरने लगे, समझ नहीं आती थी किस गबरू को अपना दिल दूँ। मैं नहाने लगती जब साबुन अपने मम्मों पर लगाती वो कस जाते, अपने हाथ से दबा देती। एक […]

मंजरी भाभी

मैं कुछ नहीं करता था क्योंकि मैं डिप्लोमा की परीक्षा में फ़ेल हो गया था और परीक्षा को अभी बहुत समय था तो पिताजी ने मुझे अपने एक दोस्त के यहाँ नौकरी पर लगा दिया। वहाँ पर लगभग हर रोज ही एक महिला आती थी। उनका नाम मंजरी (नाम बदला हुआ) था। जब भी वो […]

मेरी तो बहुत छोटी है

एक दिन उसकी मम्मी ने मुझे कहा- बेटा, नेहा को गणित के कुछ सवाल हल करा देना। मैंने तुरंत हाँ कर दी। मैंने उसकी याद में बाथरूम में जाकर एक बार मुठ मारी। फिर वो मेरे कमरे में आई तो थोड़ी शरमा रही थी। मैंने उसे सवाल समझा दिए, वो चली गई। उस रात मुझे […]

मासूम अक्षतयौवना-1

पर मैं ध्यान नहीं देती थी। कुछ समय बाद मेरे ससुराल से समाचार आने लग गए कि इसको ससुराल भेजो, इसका गौना करो। और मैं मासूम नादान सी ससुराल चली गई। उस वक्त मुझे साड़ी पहनना भी नहीं आता था, हम राजस्थान में ओढ़नी और कुर्ती, कांचली, घाघरा पहनते हैं, में भी ये कपड़े पहन […]