बीच पर बिकिनी में गर्म लड़की और सेक्स-1

उसने मुझे गोवा आने का निमंत्रण दिया, लिखा- आप गोवा आ जाओ, आपके रहने, खाने पीने का सब ज़िम्मेदारी मेरी, बस आप आने की हाँ कहो!
नील गोवा में समुद्रतट पर वाटर स्कूटर का काम करता है।

मैंने सोचा, गोवा तो मैंने भी नहीं देखा, सुना है वहाँ पर बड़े सुंदर बीच हैं, लड़कियाँ औरतें बिकिनी पहन कर घूमती हैं।

ये विचार आते ही मैंने अपने रूम का डोर अंदर से लोक किया, अपनी जीन्स और टी शर्ट उतार दी और कमरे के अंदर मैं सिर्फ ब्रा
और पेंटी में घूमने लगी, सोचने लगी कि जब मैं गोवा के बीच पर इस हालत में घूमूंगी और सब तरफ से लोग मेरे अध नंगे बदन को देखेंगे, तो कैसा लगेगा।

मगर रूम में तो चाहे नंगे घूमो, मगर बाहर ओपन में ब्रा पेंटी में घूमना अलग बात है।

उसी शाम को मैंने अपने पति से बात की कि मुझे गोवा घूमना है।
पति ने कहा- हाँ देखेंगे!
बात आई गई हो गई।

मैं नील (मेरा गोवा वाला फ़ैन) से ईमेल पर बात करती रहती वो रोज़ रोज़ मुझे गोवा के बारे में बहुत कुछ बताता रहता।
धीरे धीरे उसने मुझे अपनी पिक्स भी भेजी, पहले जीन्स शर्ट में, फिर धीरे धीरे कपड़े उतरते गए, और एक दिन उसने मुझे अपने तने हुये लंड की पिक भेजी।
कोई 7 इंच का भरपूर मोटा, सख्त लंड…

मुझे उसकी फोटो बहुत पसंद आई, मैंने उससे कहा- मुझे अपने लंड की और फोटो भेजो!
तो उसने भी मेरे बदन की पिक्स भेजने को कहा।

अपना चेहरा छुपा कर मैं रोज़ कोई न कोई अपनी नंगी पिक खींचती और उसे भेजती।

एक दिन उसने मुझे एक वीडियो बना कर भेजी, जिस में वो बिल्कुल नंगा खड़ा हाथ से कर रहा था।
जब उसका माल छूटा तो वो बोला- सीमा डार्लिंग, यह माल तुम्हारे लिए है, आ जाओ गोवा, फिर यह माल मैं तुम्हारे मुँह में, तुम्हारी चूत में, तुम्हारी गाँड में और जहां जहां तुम कहोगी, वहाँ वहाँ छुड़वाऊँगा।

बाई गोड… उसकी वीडियो देख कर तो मैं पागल हो गई, तभी बाथरूम में गई, सलवार उतारी, उसकी को बार बार चला कर देखा और खुद अपने हाथ से करके अपनी आग शांत की।
कई बार तो अपना मोबाइल भी अपनी चूत से रगड़ा… जी कर रहा था कि वो अभी मोबाइल से बाहर निकले और मुझे चोद डाले।

मगर ऐसा हुआ नहीं।

रात को सोने पहले पतिदेव ने भी मेरी बजाई, मगर मुझे तो नील का लंड चाहिए था, तो पति के सो जाने के बाद दुबारा वीडियो चलाई और फिर से हाथ से किया।

फिर 3-4 दिन बाद पति ने पूछा- तुम गोवा जाने का कह रही थी?
मेरी तो बाँछें खिल गई- हाँ, कब जा रहे हैं हम?
मैंने पूछा।

पति बोले- अगले हफ्ते या 10 दिन तक एक मुंबई का टूर आ रहा है, अगर मैं गया तो तुम भी साथ चलना, 2-3 दिन बीच में से गोवा घूम आएंगे।
मैंने तो खुशी के मारे पति को चूम लिया।
रात को खुद वेंप बन कर अपनी खुशी से पति को दी।
रोज़ पूछती, टूर बना… टूर बना?

एक दिन पति ने कहा- बन गया, परसों जाना है, तैयारी कर लो।
मैंने कहा- मगर बीच पर पहनने के लिए मेरे पास बिकिनी तो है नहीं?
पति बोले- अरे वहीं से ले लेंगे… तुम सिर्फ अपने कपड़े रख लो, बाकी सब वहाँ से ले लेंगे।

चलो जी तैयारी शुरू हो गई।

3 दिन बाद हमने चंडीगढ़ से मुंबई की फ्लाइट ली।
3 दिन तो मैं मुंबई में ही सड़ती रही। मुंबई घूमा मगर मुझे कतई पसंद नहीं आया। मैं बार बार नील को अपनी पोजिशन बताती रही।
फिर एक दिन हम गोवा के लिए चल पड़े। गोवा पहुंचे, एक सी साइड रिज़ार्ट में रूम लिया।
मगर मेरी आँखें तो नील को ढूंढ रही थी।

हम रात को पहुंचे थे, तो थोड़ा सा बीच पर घूमे, और खाना खा कर सोने चले गए।

पतिदेव अपनी पूरी जान लगा रहे थे, मगर उनमें मुझे नील नहीं दिखा था।
मुझे 6 इंच का नहीं 7 इंच नौजवान लंड चाहिए था।

अगले दिन सुबह फिर बीच पे गए, तब सामने से नील आता दिखा, कोई 23-24 साल का नौजवान, बड़ी अच्छी बॉडी बनाई हुई थी उसने, थोड़ा टैन कलर, घुंघराले बाल, मगर शानदार नौजवान!

मगर मैंने अपनी खुशी को दबा लिया, पति साथ में जो था।

नील ने हम दोनों को वॉटर स्कूटर राईड के लिए कहा। मैं तो झट से जाकर नील के स्कूटर पर बैठ गई, मेरे पति दूसरे स्कूटर पर बैठ गए।
एक मिनट में ही नील मुझे वो समुंदर के बीच ले गया।

मैं लाइफ जेकेट पहने उसको कस के पकड़ के बैठी थी, बीच में जाकर नील ने कहा- अरे सीमा जी, आप तो मुझे बिकिनी में मिलने वाली थी, फिर टी शर्ट और निकर क्यों पहन कर आई?

मैंने कहा- यार, अभी बिकिनी की शॉप नहीं मिली हमें… और मेरा पति भी तो साथ है।
वो बोला- पति को अलग कर दें?
मैं बोली- कर दो।

उसने अपनी दोस्त को सीटी मारी और वो मेरे पति को लेकर और तरफ को चला गया।

नील मुझे वापिस किनारे ले आया और मुझे एक बिकिनी शॉप में ले गया। तरह तरह की बिकिनी वहाँ पे टंगी थी।
मैंने दो तीन पसंद कर ली, पैसे नील ने ही दे दिए और बोला- जाओ, पहन कर आओ।

मैं बगल में ही एक छोटे से रूम में जाकर चेंज कर आई मगर मुझे बाहर जाने में बड़ी शर्म आ रही थी मगर बाहर तो आना ही था।
जब मैं बाहर निकली तो नील की आँखें मेरा ही इंतज़ार कर रही थी, सुर्ख लाल रंग की बिकिनी में वो मुझे घूरता ही रह गया।

मुझे बहुत शर्म आ रही थी, पहली बार बिकिनी जो पहनी थी, आस पास के सब लोग, मर्द औरत मुझे देखते जा रहे थे।

नील ने आगे बढ़ कर मुझे अपनी बाहों में ले लिया- ओह मेरी सीमा, कितनी खूबसूरत लग रही हो तुम, कितनी सेक्सी, जैसे कोई
अप्सरा हो।
मैं तो और शर्मा गई।

मगर नील मेरा हाथ पकड़ कर मुझे अपने साथ ले गया और बोला- शर्माओ मत, सीना तान कर चलो, हर आने जाने वाले से उम्मीद रखो कि वो अपनी नज़रों से तुम्हारे बूब्स, तुम्हारी कमर और जांघों की तारीफ करे, और हर पीछे आने वाला तुम्हारे मटकते चूतड़ों को देखे, छुपाओ मत सब को दिखाओ!

मुझे थोड़ा हौंसला सा हुआ, मैं तन कर चलने लगी।

थोड़ी देर बाद मुझे सब नॉर्मल लगने लगा, ऐसा लगा जैसे कोई भी मुझे नहीं देख रहा है।
मगर एक चीज़ जो मैंने देखी, वो यह थी के नील के बरमुडे में मुझे कुछ उभरा हुआ लगा।
अब बात तो पूरी तरह से खुली हुई थी, मैंने नील से पूछा- इसे क्या हो रहा है।
नील बोला- तुम्हारे खूबसूरत जिस्म को सलामी देने के लिए तन कर खड़ा है।

एक बार तो दिल में ख्याल आया कि इसे कहूँ ‘चल निकाल के दिखा…’ मगर मैंने सोचा यहाँ नहीं।
मैंने नील से कहा- यहाँ कोई ऐसी जगह है, जो इस भीड़ भाड़ से दूर हो?
वो बोला- है न, चलो बैठो स्कूटर पर!

मगर इतने में ही मेरे पति सामने से आ गए।
मुझे उन्होंने बड़े गौर से ऊपर से नीचे तक देखा।

मैंने पूछा- कैसी लग रही हूँ?
वो बोले- अरे कमाल है यार… तुम तो बहुत ही ज़बरदस्त लग रही हो, तुम इतनी हॉट और सेक्सी हो, मुझे तो आज पता चला!

मैंने खुश हो कर अपने पति को गले से लगा लिया।
तभी वो बोले- चलो खाना खा कर आते हैं।
मैंने झूठ ही कह दिया- नहीं, अभी मुझे एक राउंड और लगा कर आना है, तुम बैठो मैं अभी आई, चलो नील!

कह कर मैं आगे चल पड़ी, बिना अपने पति की बात सुने।
नील मेरे पीछे आया।

जब स्कूटर पर बैठी तो वो बोला- लाइफ जैकेट पहन लो!
मैंने कहा- अगर जैकेट पहन ली, तो मेरा खूबसूरत बदन सारा छुप जाएगा, मैं नहीं पहनूँगी।
वो बोला- अगर डूब गई तो?
मैंने कहा- तुम हो तो बचाने के लिए! चलो अब।

मैं उसके पीछे वॉटर स्कूटर पर बैठी और हम फिर समुंदर की ओर चल पड़े।

इस बार मैं पूरे मूड में थी, लोगों से दूर आते ही मैंने नील को कस कर अपनी बाहों में भर लिया और अपनी ठुड्डी उसके कंधे पे रख दी।
काफी आगे जा कर उसने स्कूटर मोड़ दिया और हम तट से दूर चले आए।

काफी आगे आकर फिर से एक तट दिखा। हम दोनों उस तट पर उतरे, बिल्कुल सुनसान कोई इंसान नहीं था वहाँ पे!
‘यह क्या जगह है?’ मैंने पूछा।
‘गोवा ही है, मगर इस तरफ कोई नहीं आता है।’ वो बोला।

हम तट पर उतरे, रेत पर चलते गए, थोड़ा आगे जा कर मैं लेट गई।
वो भी मेरे साथ ही लेट गया, मगर वो मेरे बदन को देख रहा था, शायद सोच रहा हो कि बात शुरू कैसे करूँ, ई मेल में तो बहुत कुछ कहते थे एक दूसरे से।

मैंने उस से कहा- क्या देख रहे हो नील?
वो बोला- तुम्हारा यह खूबसूरत सेक्सी बदन!

मैं उसकी तरफ घूमी और मैंने उसके होंठों पे एक हल्का सा चुम्बन किया।
उसने मुझे पकड़ना चाहा मगर मैं उठ कर समुंदर की तरफ भाग ली। लहरों के बीच जाकर उसने मुझे पकड़ लिया।

जैसे ही उसने मुझे पकड़ा मैंने भी उसे अपनी बाहों में भर लिया, इस बार हम दोनों ने एक दूसरे के होंठों को चूमा, फिर चूमा, फिर चूमा, और फिर चूस ही डाला।

उसके दोनों हाथ मेरी पीठ पर थे जो वो घूमा कर मेरे बूब्स पे ले आया और मेरे ब्रा के ऊपर से पकड़ के मेरे बूब्स दबाने लगा।
मैंने भी अपना हाथ नीचे किया और उसका लंड पकड़ लिया।

मैंने उसके लंड को सहलाया, तो उसने अपना बरमूडा उतारा और पानी से बाहर फेंक दिया।

साफ पानी में मैं उसका तना हुआ लंड बिल्कुल साफ देख सकती थी।
लंड एक दम काला था, मैंने उसकी चमड़ी पीछे हटाई, तो नीचे से टोपा भी गहरा भूरा था। मैंने जब अपने हाथ से उसका हस्तमैथुन सा किया तो उसने भी मेरी पेंटी में हाथ डाल कर मेरी चूत के दाने को सहलाया।
मुझे बहुत अच्छा लगा।
मैंने अपनी आँखें बंद कर ली और उसके स्पर्श का आनन्द लेने लगी।

उसने धीरे धीरे मेरी पेंटी उतारनी शुरू की और मैंने भी उसे नहीं रोका, मेरी पेंटी उतार कर भी उसने पानी से बाहर फेंक दी।
यह कहानी आप अन्तर्वासना डॉट कॉम पर पढ़ रहे हैं !
मेरी एक टाँग उठा कर अपनी कमर पे रखी और मुझे बिल्कुल अपने से चिपका लिया।

मुझे पता था कि अब ये अंदर डालेगा, और उसने कहा- कभी पानी के अंदर चुदाई कारवाई है?
मैंने कहा- नहीं।
‘तो इसको अंदर लो और फिर एक लंबी सांस लेकर रोक लेना।’ वो बोला।

मैंने अपनी कमर उसके साथ सटा दी, उसने अपना लंड मेरी चूत पे रखा और अंदर धकेला, मैंने भी अपनी चूत के मसल रिलैक्स करके उसे अंदर आने दिया।

जब आधा लंड अंदर चला गया तो हम दोनों ने लंबी सांस ली और उसने मुझे गिरा दिया। कमर तक गहरे पानी में हम दोनों डूब
गए।
मैं नीचे सागर की तलहटी पे सफ़ेद रेत पे लेटी थी, मेरे ऊपर वो धीरे धीरे हिल कर अपना बाकी का लंड भी मेरे अंदर डाल रहा था।
मैंने आँखें खोल कर देखा, ऊपर साफ उजला पानी, जिसमें से चमकता सूरज दिख रहा था, साफ आसमान!

मेरी ब्रा के धागे खोल कर उसने ब्रा एक साइड पे रख दिया। उसकी स्पीड कम थी क्योंकि हम दोनों पानी में डूबे थे, मगर उसका मजबूत लंड मैं अपने पेट के अंदर तक महसूस कर रही थी।

मुश्किल से 20 सेकंड ही मैं अपनी सांस रोक पाई, मैंने उसे इशारा किया, उसने मेरा सिर्फ सर बाहर निकाला और जब मैंने फिर से एक लंबी सांस ले ली, तो वो मुझे फिर से पानी के नीचे ले गया।

इसी तरह हम थोड़ी देर अंडर वाटर सेक्स करते रहे, मगर प्रेक्टिस न होने के वजह से मैं ज़्यादा देर तक अपनी सांस नहीं रोक पाती थी।

फिर वो बोला- आपको दिक्कत हो रही है, चलो बाहर ही चलते हैं।

हम तट पर आए, वो मेरा हाथ पकड़े मुझसे थोड़ा सा आगे था, मैंने किनारे पे पहुँच कर उसे धक्का दे कर गिरा दिया।
जब वो गिरा तो मैं छलांग मार कर उसके ऊपर जा चढ़ी।

‘ओह…’ वो हंसा- तो तुम खुद कमान संभालोगी।
मैंने कहा- हाँ, क्यों नहीं!

मैं उसकी कमर के ऊपर बैठ और अपने हाथ से पकड़ कर उसका लंड अपनी चूत पर रखा और अंदर लेने लगी।
जब पूरा लंड अंदर चला गया तो मैं आगे पीछे हो कर सेक्स करने लगी।

मैंने उस से पूछा- नील क्या पहले भी इस जगह तुमने सेक्स किया है?
वो बोला- हाँ, बहुत बार!
‘कितनी बार?’ मैंने पूछा।
वो बोला- सच कहूँ तो मुझे याद नहीं है, 18 साल का था जब से बीच बॉय का काम कर रहा हूँ, आज 24 साल का हो गया, पिछले 7 सालों में शायद हजारों औरतों और लड़कियों को चोद चुका हूँ।

मैंने पूछा- अब तक की सबसे सुंदर और सबसे सेक्सी लड़की कौन थी, जिससे तुमने किया?
असल में मैं तो चाहती थी, के वो मेरे नाम ले मेरी तारीफ करे।
मगर वो बोला- सबसे सुंदर एक इंग्लैंड की लड़की थी, कमसिन किशोरी, उतनी सुंदर लड़की मैंने आज तक नहीं देखी, उसके साथ वो सामने पत्थर है न, उसके पास हमने सेक्स किया, और सेक्सी तो यहाँ एक से एक आती हैं।

जब मैंने अपनी तारीफ नहीं सुनी तो मैंने बात बदल दी।
मगर फिर भी जब उसने मेरा नाम नहीं लिया तो मैंने पूछा- मेरे बारे में क्या ख्याल है?

वो बोला- आप भी बहुत सुंदर हो, बहुत सेक्सी हो, आपके बूब्स बहुत अच्छी शेप में हैं, कमर पतली है, जांघों पे ज़्यादा चर्बी नहीं, सुंदर चिकनी पीठ है, आपकी आँखें और होंठ बहुत सुंदर हैं।

सच कहूँ तो उसकी तारीफ से मैं फूल कर कुप्पा हो गई और ज़्यादा ज़ोर से चुदाई करने लगी।
मगर ज़्यादा देर न कर पाई और थक गई, तो नील बोला- थक गई, चलो नीचे आ जाओ, मैं करता हूँ।

मैं नीचे रेत पर लेट गई और नील मेरे ऊपर आ गया।
फिर एक बार जो उसने अपना लंड मेरे अंदर डाला और वो धुआंधार चुदाई की कि 7 या 8 मिनट में ही उसने मुझे दो बार स्खलित कर दिया।

उसके नीचे लेटी मैं सिर्फ तड़प कर ही रह गई, मगर उसने मुझे हिलने नहीं दिया।
दो बार लगातार झड़ने के बाद मैं तो बेजान सी हुई लेटी थी, तब नील ने पूछा- मेरा होने वाला है, कहाँ माल गिराऊँ?
मैंने कहा- मैं चाहती हूँ कि मेरा बेटा तुम्हारे जैसा शानदार मर्द हो, अंदर ही आने दो।

वो बोला- अगर बेटी हुई तो?
‘तो मेरी जैसी होगी!’ मैंने कहा।
‘चुदक्कड़…’ नील ने हंस कर कहा।
‘क्यों चुदक्कड़ होने में क्या बुराई है, ज़िंदगी एक बार मिली है, इसका भरपूर मज़ा लो!’ मैंने कहा।

उसके बाद नील ने अपना माल मेरे अंदर गिराया, मुझे ऐसे महसूस हुआ कि जैसे कोई मेरी बच्चेदानी पर पिचकारी से पानी की धारें मार रहा हो।

फ़ारिग होकर नील मेरे बगल में ही लेट गया, अभी भी उसके लंड का कड़कपन नहीं गया था, मैं पूरी तरह से संतुष्ट थी, मगर फिर भी मैं उसका लंड और लेना चाहती थी।
मेरी प्यास अभी भी नहीं बुझी थी।
मैंने फिर से उसका लंड अपने हाथ में पकड़ लिया।

थोड़ी देर लेटने के बाद, हमने अपने अपने कपड़े जो भी थे पहने और वापिस चल पड़े।

जब वापिस तट पर पहुँचे तो पतिदेव परेशान से खड़े थे, मुझे देख कर बोले- अरे कहाँ चली गई थी, कितनी देर से तुम्हारा इंतज़ार कर रहा था, कितना परेशान था मैं!

मैंने कहा- नील ने मुझे इस सागर का दूसरा किनारा दिखाया, सच में बड़ा मज़ा आया।

खैर पति मुझे लेकर चल पड़े।
जब मैं वापिस बिकिनी चेंज करने गई तो नील मेरे पास आया और बोला- आज रात को मैं तुमसे मिलने आऊँगा, यह लो गोली… अपने पति को खिला देना, अगर ऐतराज न हो तो अपने एक दोस्त को भी साथ में ले आऊँ?

मैंने पूछा- कौन सा दोस्त?
वो बोला- बस समझ लो कि मेरी ही डुप्लीकेट कॉपी है।
मैंने कहा- ठीक है ले आना!

मुझे तो यह खुशी थी कि रात को एक साथ दो दो लंड लूँगी, नील को यह खुशी थी एक सुंदर सेक्सी औरत को दो दोस्त मिलकर चोदेंगे।
रात को क्या हुआ, मैं कैसे चुदी, वो कहानी फिर कभी!
[email protected]