Tag: सुहागरात की चुदाई की कहानी

सहेली की सुहागसेज पर दूल्हे ने मुझे चोदा-2

मैंने झुक कर उन्हें अपनी चूचियों के दीदार करवा दिए और मैं जाने लगी। जीजू भी कहाँ पीछे रहने वाले थे, उन्होंने मुझे खींचते हुए अपने गोद में बिठा लिया और बोले- मेरी ड्रीम गर्ल.. अपने आशिक को छोड़ कर कहाँ जा रही हो? यह बोलकर उन्होंने मुझे कसकर गोद में तेजी से दबा लिया। […]

बिना शादी के सुहागरात मनानी पड़ी-1

लेकिन किस्मत ने जब जिससे जहाँ मिलना होता है, मिला देती है और शायद किस्मत को ऋषि को मुझसे मिलना था. ऋषि मेरा एक दोस्त है जो मुझे गुरुग्राम में ही मिला. ऋषि दिखने में भी बहुत अच्छा है, मन में एक बार तो आया था कि उसे अपना बॉयफ्रेंड बना लूँ पर अपने माँ […]

बिना शादी के सुहागरात मनानी पड़ी-2

फिर उन्होंने मुझे गले पर किस किया और फिर मेरी पीठ पर चूमते हुए मेरे ब्लाउज का धागा खोल दिया. उन्होंने मेरे ब्लाउज को उतार दिया और फिर अपना भी कुरता भी उतार दिया. अब वो मेरे पेट पर किस किए जा रहे थे और फिर मुझे घुमा कर मेरे दोनों चूचों को दबाने लगे […]

सफ़ेद चादर

नलिन बोला- देखो आयुषी, मुझे मालूम है कि आज की रात हमारी सुहागरात है, यह हमारी यादगार लम्हों से भरी रात होने वाली है, इस रात के लिए हमने कितने सपने देखें हैं, लो इस चादर को बिछाओ! आयुषी- लेकिन क्यों? ये क्या जरूरी है? नलिन- समझने की कोशिश करो आयुषी… यह जरूरी होता है! […]

बाप की हवस और बेटे का प्यार-1

उस बनिये की पत्नी मर चुकी थी और उसका एक लड़का था, जिसकी उम्र इक्कीस साल की थी. वो कहीं दूसरे शहर में पढ़ता था. उसके लड़के का नाम मनोज था. वो लड़का जब भी मुझे देखता तो मुस्करा कर अपनी आँखें झुका लेता था. मुझे दिल ही दिल में उस लड़के से प्यार हो […]

पिया संग मेरा हनीमून

मौसी थोड़ी संतुष्ट भी दिखी और थोड़ी बेचैन भी ! बोली- जंवाई सा नै कोसिस बी ना करी? मैंने उत्तर दिया- शायद इनका मन तो था कुछ करने का पर मैंने टाल दिया, कहा कि जब हनीमून पर जाएंगे तब करेंगे ! मौसी बोली- इब जिज्जी नै के बतावैगी? मैं बोली- मैं क्या बताऊंगी? मौसी […]

दूसरी सुहागरात-1

मधुर की डायरी के कुछ अंश : 11 जनवरी, 2006 विधाता की जितनी भी सृष्टि है वो रूपवती है, संसार की हर वस्तु चाहे जड़ हो या चेतन, क्षुद्र (अनु) हो या महान सभी का एक रूप होता है। सृष्टि का अर्थ ही है रूप निर्माण और जब रूप बन जाता है तब उसमें सौंदर्य […]

चरित्र बदलाव-9

तभी किसी ने मेरे नाम से पीछे से आवाज दी. मैंने पीछे मुड़ कर देखा तो सोनम खड़ी थी. वो मुझसे माफ़ी मांगने लगी और बोली कि वो मुझसे सचमुच प्यार करती है और मुझसे शादी भी करना चाहती है. मैं खुश हो गया और हम दोनों ने कमरे में आकर यह बात सबको बताई, […]

सुहागरात भी तुम्हारे साथ मनाऊँगी-3

ठीक है, चलो चलते हैं ! मैंने उसे चूमा और बाय कहकर चला आया। सुबह तैयार होकर स्कूल के लिए निकला। लक्ष्मी मेरा इन्तज़ार कर रही थी। वो भी साथ चलने लगी। बोली- जानू, लव यू ! लव यू टू ! फिर हम बातें करते रहे। बातों ही बातों में उसने कहा- अगर तुम कल […]

आधी अधूरी सुहागरात

पता चला कि जीजी के पिरीयड चल रहे थे इसलिए उनका अभी कुछ नहीं हो पाया है। और जब पाँच दिन के बाद जीजू जीजी को लेने ले लिए आए तो उनकी असली सुहागरात तो हमारे यहाँ ही होनी थी ना.. क्योंकि जीजी-जीजू अगले दिन जाने वाले थे तो घर के बड़ों से थोड़ा छुपा […]